कला-संस्कृति महत्वपूर्ण लेख समाज डार्विन का सिद्धांत और दशावतारों की अवधारणा January 30, 2018 by प्रमोद भार्गव | 1 Comment on डार्विन का सिद्धांत और दशावतारों की अवधारणा संदर्भः केंद्रीय मानव संसाधन राज्य मंत्री सत्यपाल सिंह का डार्विन के सिद्धांत पर दिया बयान- प्रमोद भार्गव दुनिया बदल रही है और बदलती दुनिया में अपने आप को बनाए रखने के लिए परिवर्तन आवश्यक है। दुनिया के इस बदलते स्वभाव की विडंबना है कि दुनिया तो स्थिर है, किंतु परिवर्तन अस्थाई हैं। इसी परिवर्तनशील आचरण […] Read more » Darwin's theory Featured the concept of spectroscopic डार्विन का सिद्धांत डार्विन के सिद्धांत पर दिया बयान दशावतारों की अवधारणा संदर्भः केंद्रीय मानव संसाधन राज्य मंत्री सत्यपाल सिंह
शख्सियत समाज आजाद हिन्द फौज के सेनानी आनंद मोहन सहाय January 30, 2018 by कुमार कृष्णन | Leave a Comment पुण्य तिथि 13 फरवरी पर विशेष कुमार कृष्णन आनंद मोहन सहाय एक ऐसे व्यक्तित्व हैं, जिन्होंने 25 वर्ष की उम्र में ही अपनी मातृभूमि को गुलामी की जंजीर से मुक्त कराने के लिये विदेश चल पड़े एवं जापान सहित अन्य दक्षिण-पुर्व एशियायी एवं निकटवर्ती यूरोपीय देशों में रह रहे भारतीयों को वतन की आजादी के […] Read more » Featured आजाद हिन्द फौज आनंद मोहन सहाय
व्यंग्य साहित्य ग्रीन शासन, क्लीन प्रशासन January 30, 2018 by अशोक गौतम | Leave a Comment अबके दीवाली को जब कसौली के साथ लगते गांव का गंगा कुम्हार अपने गोरू गधे की पीठ पर दीवाली के दीए लाद कालका के बाजार में बेचने गया था तो दीए आढ़ती को बेचने के बाद खुद कालका का बाजार घूमने, घर का जरूरी सामान लेने गधे ये यह कह बाजार हो लिया कि वह […] Read more » Featured क्लीन प्रशासन ग्रीन शासन
लेख साहित्य गीता का कर्मयोग और आज का विश्व, भाग-46 January 30, 2018 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment राकेश कुमार आर्य   गीता का सातवां अध्याय और विश्व समाज महर्षि पतंजलि ‘योग दर्शन’ में कहते हैं कि संसार और शरीर आदि के अनित्य पदार्थों को नित्य, मिथ्या-भाषण, चोरी आदि अपवित्र कर्मों को पवित्र, विषय सेवन आदि दु:ख को सुख रूप, शरीर और भौतिक जड़ पदार्थों को चेतन समझना यह अविद्या है। अनित्य […] Read more » Featured geeta karmayoga of geeta आज का विश्व ईश्वर का ध्यान गीता गीता का कर्मयोग गीता का सातवां अध्याय ज्ञान-विज्ञान विश्व समाज
लेख साहित्य गीता का कर्मयोग और आज का विश्व, भाग-45 January 30, 2018 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment राकेश कुमार आर्य   गीता का सातवां अध्याय और विश्व समाज ज्ञान-विज्ञान और ईश्वर का ध्यान गीता के सातवें अध्याय का शुभारम्भ करते हुए योगेश्वर श्रीकृष्ण जी कहते हैं कि हे पार्थ! मुझ में मन को आसक्त करके अर्थात कर्मफल की आसक्ति के भाव को छोडक़र और संसार के भोगों या विषय वासनाओं को […] Read more » Featured geeta karmayoga of geeta आज का विश्व ईश्वर का ध्यान गीता गीता का कर्मयोग गीता का सातवां अध्याय ज्ञान-विज्ञान विश्व समाज
लेख विविधा साहित्य संघ मेरी आत्मा – श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी की आत्मकथा के अंश January 30, 2018 by हरिहर शर्मा | Leave a Comment राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से मेरा प्रथम संपर्क 1 9 3 9 में हुआ और वह भी आर्य समाज की युवा शाखा, आर्य कुमार सभा के माध्यम से | उन दिनों ग्वालियर रियासत थी, जो किसी भी प्रांत का हिस्सा नहीं थी। एक कट्टर ‘सनातती’ परिवार से होने के बाद भी मैं आर्य कुमार सभा के […] Read more » Featured RSS my soul श्री अटल बिहारी वाजपेयी श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी की आत्मकथा के अंश संघ मेरी आत्मा
समाज सिनेमा क्या भंसाली निर्दोष हैं? January 29, 2018 by डॉ नीलम महेन्द्रा | Leave a Comment 26 जनवरी 2018, देश का 69 वाँ गणतंत्र दिवस, भारतीय इतिहास में पहली बार दस आसियान देशों के राष्ट्राध्यक्ष समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित, पूरे देश के लिए गौरव का पल, लेकिन अखबारों की हेडलाइन क्या थीं? समारोह की तैयारियाँ? विदेशी मेहमानों का आगमन और स्वागत? जी नहीं ! “देश भर में […] Read more » Featured padmavat Padmavati भंसाली निर्दोष
विविधा संविधान सभा में सरदार पटेल का वह अविस्मरणीय भाषण January 29, 2018 by राकेश कुमार आर्य | 5 Comments on संविधान सभा में सरदार पटेल का वह अविस्मरणीय भाषण राकेश कुमार आर्य सरदार वल्लभभाई पटेल भारतीय स्वातंत्र्य समर के एक दैदीप्यमान नक्षत्र हैं। उनकी स्पष्टवादिता और कड़े निर्णय लेने में दिखायी जाने वाली निडरता आज तक लोगों को रोमांचित कर देती है। बात उस समय की है जब देश की संविधान सभा में संयुक्त निर्वाचन पद्घति पर बहस चल रही थी। तब श्री नजीरूद्दीन […] Read more » Featured मुस्लिम तुष्टिकरण के प्रति कड़े दृष्टिकोण सरदार पटेल सरदार पटेल की स्पष्टवादिता संविधान सभा
धर्म-अध्यात्म जीवन मृत्यु रहस्य एवं आनन्दमय मोक्ष प्राप्ति की चर्चा January 29, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य मनुष्य जीवन हो या पशु-पक्षियों का जीवन, सभी का जीवन, जीवन व मृत्यु के पाश में बन्धा व फंसा हुआ है। कोई भी मनुष्य या प्राणी स्वेच्छा से मरना नहीं चाहता। वह चाहता है कि वह सदा इसी प्रकार से बना रहे। उसे कभी कोई रोग न हो। दुःखों को कोई भी […] Read more » achievement of eternal salvation Discussion of life's death secret Featured आनन्दमय मोक्ष प्राप्ति जीवन मृत्यु रहस्य
समाज ग्राम स्वराज का अर्थ आत्मबल का होना January 29, 2018 by मनोज कुमार | Leave a Comment –मनोज कुमार महात्मा गांधी का मानना था कि अगर गांव नष्ट हो जाए, तो हिन्दुस्तान भी नष्ट हो जायेगा। दुनिया में उसका अपना मिशन ही खत्म हो जायेगा। अपना जीवन-लक्ष्य ही नहीं बचेगा। हमारे गांवों की सेवा करने से ही सच्चे स्वराज्य की स्थापना होगी। बाकी सभी कोशिशें निरर्थक सिद्ध होगी। गांव उतने ही पुराने […] Read more » Featured Gram Swaraj self-being ग्राम स्वराज
व्यंग्य साहित्य थानेदार मुर्गा January 29, 2018 by विजय कुमार | Leave a Comment इस शीर्षक को पढ़कर मुर्गा नाराज होगा या थानेदार, ये कहना कठिन है; पर कुछ घटनाएं पढ़ और सुनकर लग रहा है कि भविष्य में ऐसे दृश्य भी दिखायी दे सकते हैं। असल में पिछले दिनों म.प्र. के बैतूल नगर में एक अजीब घटना हुई। वहां दो लोग मुर्गे लड़ा रहे थे। भीड़ देखकर पुलिस […] Read more » Featured मुर्गा
धर्म-अध्यात्म सृष्टि के वास्तुकार भगवान विश्वकर्मा January 29, 2018 by देवेंद्रराज सुथार | Leave a Comment देवेंद्रराज सुथार शिल्प, वास्तुकला, चित्रकला, काष्ठकला, मूर्तिकला और न जाने कितनी कलाओं के जनक भगवान विश्वकर्मा को देवताओं का आर्किटेक्ट व देवशिल्पी कहा जाता है। हम उन्हें दुनिया के प्रथम आर्किटेक्ट और इंजीनियर भी कह सकते है। हमारे धर्मग्रंथों के अनुसार देवताओं के लिए भवनों, महलों, रथों व बहुमूल्य आभूषण इत्यादि का निर्माण भगवान विश्वकर्मा […] Read more » Featured vishwakarma भगवान विश्वकर्मा विश्वकर्मा