समाज बिना माँ के संसार की कल्पना करना निरर्थक May 12, 2017 by ब्रह्मानंद राजपूत | Leave a Comment दुनिया की हर नारी में मातृत्व वास करता है। बेशक उसने संतान को जन्म दिया हो या न दिया हो। नारी इस संसार और प्रकृति की ‘जननी’ है। नारी के बिना तो संसार की कल्पना भी नहीं की जा सकती। इस सृष्टि के हर जीव और जन्तु की मूल पहचान माँ होती है। अगर माँ न हो तो संतान भी नहीं होगी और न ही सृष्टि आगे बढ पाएगी। इस संसार में जितने भी पुत्रों की मां हैं, वह अत्यंत सरल रूप में हैं। कहने का मतलब कि मां एकदम से सहज रूप में होती हैं। वे अपनी संतानों पर शीघ्रता से प्रसन्न हो जाती हैं। वह अपनी समस्त खुशियां अपनी संतान के लिए त्याग देती हैं, क्योंकि पुत्र कुपुत्र हो सकता है, पुत्री कुपुत्री हो सकती है, लेकिन माता कुमाता नहीं हो सकती। एक संतान माँ को घर से निकाल सकती है लेकिन माँ हमेशा अपनी संतान को आश्रय देती है। एक माँ ही है जो अपनी संतान का पेट भरने के लिए खुद भूखी सो जाती है और उसका हर दुख दर्द खुद सहन करती है। Read more » 14 मई Featured मातृ दिवस मातृ दिवस 14 मई
समाज कल-युग का देवासुर संग्राम ; सनातन बनाम . . . . . ईसाइयत और इस्लाम May 12, 2017 by मनोज ज्वाला | 1 Comment on कल-युग का देवासुर संग्राम ; सनातन बनाम . . . . . ईसाइयत और इस्लाम भारत के धन-वैभव को लुटने-हडपने और सनातन धर्म को नष्ट-भ्रष्ट करने के लिए मुस्लिम आक्रान्ताओं ने भारत मे घुस कर तोड-फोड, लूट-मार, हिंसा-बलात्कार-युक्त जेहाद का नंगा नाच किया । मठ-मंदिर तोडे गए , पाठशाला-गुरुकुल-विद्यालय-पुस्तकालय जलाए गए , माल-असवाब लुटे गए और तलवार की नोंक पर लाखों लोग धर्मान्तरित कर दिए गए । भारतीय समाज-व्यवस्था की आन्तरिक दुर्बलताओं का लाभ उठा कर वे असुर आतताई यहां की राज-सत्ता पर भी काबिज हो गए । सैकडों वर्षों तक उनकी सलतनत कायम रही । Read more » Christianity Featured Islam इस्लाम ईसाइयत कल-युग का देवासुर संग्राम सनातन
विविधा राष्ट्रीय सुरक्षा की अवहेलना क्यों ? May 12, 2017 by विनोद कुमार सर्वोदय | Leave a Comment हमारी ढुलमुल शत्रु नीति व समझौतावादी प्रवृति का ही दुष्परिणाम है कि सर्जिकल स्ट्राइक के बाद भी सीमाओं पर अनेक दर्दनाक घटनाऐं राष्ट्रीय सुरक्षा की पोल खोलने के लिए पर्याप्त है। इस पर भी आज राष्ट्र में पूर्णकालिक रक्षा मंत्री का न होना हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा के प्रति सतर्कता व गंभीरता के अभाव का बोध करा रही है। कहा गये वो "आंख में आंख डाल कर उसी की भाषा में उत्तर देने वाले " साहसिक नारे और कहां गई वह "एक के बदले दस सिर " लाने के उत्साहवर्धक वक्तव्य ? क्या यह सब चुनावी लुभावने थोथे नारे थे या कुछ धरातल पर कर दिखाने की वास्तविक इच्छा ? Read more » Featured National security Day राष्ट्रीय सुरक्षा राष्ट्रीय सुरक्षा की अवहेलना
विविधा जाधव: सांप मरे, लाठी न टूटे May 12, 2017 by डॉ. वेदप्रताप वैदिक | Leave a Comment हेग की अदालत की सलाह का लाभ उठाकर प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ अपने सेनापति को भी मना सकते हैं। यों मोदी और सुषमा, नवाज़ और सरताज अजीज़ से सीधे बात कर सकते थे लेकिन भारत सरकार की यह उत्तम कूटनीति है कि उसने अप्रत्यक्षतः नवाज़ के हाथ मजबूत कर दिए हैं। यों भी नवाज़ और सेनापति बाजवा के बीच ‘डान लीक’ के मामले में अब शांति हो गई है। नवाज़ शरीफ और मोदी दोनों ही भारत-पाक संबंधों को सुधारना चाहते हैं। यदि हेग की अदालत का फैसला जाधव की रिहाई के लिए हो जाए और पाकिस्तान उसे मान ले तो सांप भी मर जाएगा और लाठी भी नहीं टूटेगी। Read more » Featured कुलभूषण जाधव
विविधा आगरा की वेदना May 12, 2017 by डा. राधेश्याम द्विवेदी | Leave a Comment कल कल करने वाली यमुना के तट पर होते हुए मैं प्यासा हूं। कारण यह है कि यमुना नें प्यास मिटाने की क्षमता खो दी है। पहले मेरी प्यास बुझाने के लिए यमुना काफी थी, लेकिन सरकारी नीतियों ने हत्या कर दी है। मेरी यमुना में पानी के नाम पर मलमूत्र और फैक्ट्रियों के कचरे मात्र है। दिल्ली, हरियाणा से ही मलमूत्र आ रहा है। मेरी यमुना को शुद्ध करने के लिए हजारों करोड़ रुपये जल निगम वाले डकार चुके हैं। सिर्फ बारिश में यमुना कुछ समय के लिए भरी हुई दिखती है। इसके बाद तो सिर्फ नाला ही नजर आती है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद भी यमुना में गंदगी डाली जा रही है। Read more » Featured आगरा आगरा का गौरवशाली अतीत
लेख साहित्य आदि पत्रकार देवर्षि नारद May 11, 2017 by मृत्युंजय दीक्षित | Leave a Comment 12 मई पर विशेष:- मृत्युंजय दीक्षित सृष्टिकर्ता प्रजापति ब्रहमा के मापस पुत्र पारद। महान तपस्वी तेजस्वी सम्पूर्ण वेदान्त शास़्त्र के ज्ञाता तथा समस्त विद्वाओं में पारंगत नारद। ब्रहमतेज से संपन्न हैं। नारद जी क महान कृतित्व व व्यक्तित्व पर जितनी भी उपमाएं लिखी जायें बेहद कम हैं। देवर्षि नारद ने अपने धर्मबल से परमात्मा का […] Read more » Featured आदि पत्रकार देवर्षि नारद देवर्षि नारद
कला-संस्कृति धर्म-अध्यात्म अपनी राशि अनुसार ज्योर्तिलिंग की पूजा का महात्म, तथ्ाा फल प्राप्त होने का महात्म पढे—- May 11, 2017 / May 11, 2017 by पंडित दयानंद शास्त्री | Leave a Comment जानिए किस राशि के व्यक्ति को किस ज्योर्तिलिंग पर पूजा करने से विशेष फल प्राप्त होता है— देवाधिदेव भगवान् महादेव सर्वशक्तिमान हैं\ भगवान भोलेनाथ ऐसे देव हैं जो थोड़ी सी पूजा से भी प्रसन्न हो जाते हैं |संहारक के तौर पर पूज्य भगवान शंकर बड़े दयालु हैं. उनके अभिषेक से सभी प्रकार की मनोकामनाएं पूरी […] Read more » #कन्या राशि – भीमाशंकर ज्योतिर्लिंग #कर्क राशि – ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग #कुम्भ राशि – केदारनाथ ज्योतिर्लिंग #तुला राशि – रामेश्वर ज्योतिर्लिंग #धनु राशि – विश्वनाथ ज्योतिर्लिंग #मकर राशि – त्रयम्बकेश्वर ज्योर्तिलिंग #मिथुन राशि – महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग #वृश्चिक राशि – नागेश्वर ज्योतिर्लिंग #सिंह राशि – वैद्यनाथ ज्योतिर्लिंग Featured मल्लिकार्जुन ज्योतिर्लिंग मीन राशि – गिरीशनेश्वर ज्योतिर्लिंग राशि अनुसार ज्योर्तिलिंग की पूजा रुद्राभिषेक से लाभ सोमनाथ ज्योतिर्लिंग
विविधा “अम्ब्रेला शॉप : बुन्देलखण्ड के किसान की चलती फिरती दुकान” May 11, 2017 by अनुज हनुमत | Leave a Comment बुन्देलखन्ड के आम जनजीवन पर आई ताजा रिपोर्ट से सरकार को उलझन मससूस हो सकती है पर यहाँ के हालात बहुत चिंताजनक है,इस पर कोई दोराय नही । पूरा बुन्देलखण्ड पिछले तीन दशक से लगातार सूखे की मार झेल रहा है और इसके लिए पूर्णतया पर्यावरण असन्तुलन ही जिम्मेदार है । पीने के पानी का स्रोत (कुंओ,तालाबों) सूख गए हैं या ज्यादातर का भूजल स्तर 15 सालों में बुरी तरह नीचे गिरा है इसके कारण यहाँ के कई इलाकों के लगभग सभी कुएँ और हैण्डपम्प सूख गए हैं । इस भूजल स्तर के गिरने का प्रमुख कारण है विकास के नाम पर तालाबों का बलिदान। ऐसे में सवाल यह है की क्या हम वाकई में सम्रद्ध हो रहे हैं ? Read more » Featured अम्ब्रेला शॉप बुन्देलखन्ड
विविधा शहरी नक्सल भारत के ‘अदृश्य दुश्मन’ – भाग 1 May 10, 2017 by हरिहर शर्मा | 1 Comment on शहरी नक्सल भारत के ‘अदृश्य दुश्मन’ – भाग 1 शहरी नक्सल भारत के ‘अदृश्य दुश्मन’ हैं, उनमें से कुछ को तो पकड़ा जा चुका है, किन्तु अधिकांश आज भी पुलिस राडार के बाहर हैं और भारतीय राज्य व्यवस्था के खिलाफ विद्रोह फैला रहे है। ये सभी उस तबके में से हैं, जिन्हें शहरी बुद्धिजीवी कहा जाता है | ये प्रभावशाली लोग, नक्सल आन्दोलन की […] Read more » Featured भारत के 'अदृश्य दुश्मन' शहरी नक्सल
लेख साहित्य 1857 की क्रान्ति का नायक धनसिंह गुर्जर कोतवाल May 10, 2017 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment कोतवाल धनसिंह ने इन आजादी के दीवानों की सेना का रामराम करके स्वागत किया और उनसे पूछा कि क्या चाहते हो? उसने अपनी ओर से लोगों से कहा कि-'मारो फिरंगी को और देश को आजाद कराओ।' हनुमान की जय बोलकर इन सिरफिरे देशभक्तों की सेना कोतवाल धनसिंह के घोड़े के पीछे-2 चल दी, वह पुलिस जो इनके विशाल दल को रोकने के लिए तैनात थी, वह भी अपने कोतवाल के पीछे पीछे चल पड़ी। इन्होंने पहला धावा मेरठ की नई जेल पर बोल दिया। इन्होंने जेल से 839 कैदियों को मुक्त कराया और वे भी मुक्त होकर स्वतंत्रता सेनानियों के इस दल के साथ मिल गए और अंग्रेेजों की मेरठ जेल तोड़ दी । वहां से यह भीड़ मेरठ शहर और सिविल लाइन में घुस गई और अंग्रेज अधिकारियों के बंगलों को आग लगाना और उन्हें मारना शुरू कर दिया। Read more » 1857 की क्रान्ति का नायक Featured धनसिंह गुर्जर धनसिंह गुर्जर कोतवाल
विविधा नर्मदा कार्ययोजना : कुछ विचारणीय सुझाव May 10, 2017 by अरुण तिवारी | Leave a Comment किसी भी कार्ययोजना के निर्माण से पहले नीति बनानी चाहिए। नीतिगत तथ्य, एक तरह से स्पष्ट मार्गदर्शी सिद्धांत होते हैं। एक बार दृष्टि साफ हो जाये, तो आगे विवाद होने की गुंजाइश कम हो जाती है। इन सिद्धांतों के आलोक में ही कार्ययोजना का निर्माण किया जाना चाहिए। कार्ययोजना निर्माताओं और क्रियान्वयन करने वालों को किसी भी परिस्थिति में तय सिद्धांतों की पालना करनी चाहिए। ऐसा करने से कार्ययोजना हमेशा अनुकूल परिणाम लाने वाली होती है। Read more » Featured नर्मदा कार्ययोजना प्रवाह की समृद्धि हेतु कुछ सुझाव
राजनीति ‘‘क्या 67 सीटों पर विजय ई.वी.एम. हैकिंग का ही कमाल है ?’’ May 10, 2017 by डाॅ. कृष्णगोपाल मिश्र | 1 Comment on ‘‘क्या 67 सीटों पर विजय ई.वी.एम. हैकिंग का ही कमाल है ?’’ क्या 67 सीटों पर आम आदमी पार्टी की विजय इसी ई.वी.एम. हैकिंग का ही कमाल है ?जब आप के नेता इस तकनीकि से इतने परिचित हैं तब यह क्यों न माना जाय कि ई.वी.एम. में इस प्रकार का कोई कोड डालकर उन्होंने दिल्ली विधानसभा के पिछले चुनावों में अपेक्षित लाभ प्राप्त किया होगा। यदि इस प्रकार का कोई कारनामा संभव है तो उसे किसी भी दल का कोई भी जानकार कर सकता है। फिर आरोप केवल भाजपा पर ही क्यों ? Read more » Featured अरविन्द केजरीवाल ई.वी.एम. हैकिंग दिल्ली विधानसभा