शख्सियत समाज अमर शहीद लाला लाजपत राय जी के बलिदान दिवस पर उन्हें श्रद्धांजलिं November 18, 2016 / November 18, 2016 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment भारत का पंजाब नैशनल बैंक और लक्ष्मी इंश्योरेंस कम्पनी के संस्थापक भी लाला लाजपत राय जी ही हैं। आपने अपनी माता जी की स्मृति में एक अस्पताल भी स्थापित किया था जो विभाजन होने के कारण पाकिस्तान में चला गया। लाला जी में क्रान्ति के विचार उत्पन्न करने का श्रेय लाला साईंदास, ऋषि दयानन्द के सत्यार्थप्रकाश और आर्याभिविनय आदि ग्रन्थों को मुख्य है। वह आर्यसमाज को अपनी माता और ऋषि दयानन्द जी को अपना पिता मानते थे। Read more » Featured अमर शहीद लाला लाजपत राय जी बलिदान दिवस श्रद्धांजलि
विविधा शख्सियत लाला लाजपतराय बलिदान दिवस-17 नवम्बर November 16, 2016 by डा. राधेश्याम द्विवेदी | Leave a Comment लाला लाजपत राय को भारत के महान क्रांतिकारियों में गिना जाता है। आजीवन ब्रिटिश राजशक्ति का सामना करते हुए अपने प्राणों की परवाह न करने वाले लाला लाजपत राय को 'पंजाब केसरी' भी कहा जाता है। लालाजी भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के गरम दल के प्रमुख नेता तथा पूरे पंजाब के प्रतिनिधि थे। उन्हें 'पंजाब के शेर' की उपाधि भी मिली थी। उन्होंने क़ानून की शिक्षा प्राप्त कर हिसार में वकालत प्रारम्भ की थी, किन्तु बाद में स्वामी दयानंद के सम्पर्क में आने के कारण वे आर्य समाज के प्रबल समर्थक बन गये। यहीं से उनमें उग्र राष्ट्रीयता की भावना जागृत हुई। Read more » Featured लाला लाजपतराय लाला लाजपतराय बलिदान दिवस
कला-संस्कृति धर्म-अध्यात्म शख्सियत गुरुनानक देव : भारतीय धर्म और संस्कृति के पुरोधा November 8, 2016 / November 8, 2016 by ललित गर्ग | Leave a Comment गुरुनानकजी का धर्म जड़ नहीं, सतत जागृति और चैतन्य की अभिक्रिया है। जागृत चेतना का निर्मल प्रवाह है। उनकी शिक्षाएं एवं धार्मिक उपदेश अनंत ऊर्जा के स्रोत हैं। शोषण, अन्याय, अलगाव और संवेदनशून्यता पर टिकी आज की समाज व्यवस्था को बदलने वाला शक्तिस्रोत वही है। धर्म के धनात्मक एवं गतिशील तत्व ही सभी धर्म क्रांतियों के नाभि केन्द्र रहे हैं। वे ही व्यक्ति और समाज के समन्वित विकास की रीढ़ है। Read more » Featured Guru Nanakdev Jayanti गुरुनानक देव भारतीय धर्म और संस्कृति के पुरोधा
शख्सियत समाज सरदार पटेल जयंती-राष्ट्रीय एकता दिवस October 31, 2016 by डा. राधेश्याम द्विवेदी | Leave a Comment अंग्रेज भारत को आजाद तो कर गए, लेकिन उन्होंने देश का बंटवारा भी कर दिया । पाकिस्तान के बनाने का निर्णय अंग्रेजों द्वारा अधिकृत लार्ड माउंटबेटन कर गए, लेकिन वे हिंदुस्तान को अखंड बनाने वाली 536 छोटी-बड़ी रियासतों को लेकर चुप्पी साध गए। उस समय नेहरू के लिए भी रियासतों को एक करना सबसे बड़ी और गंभीर चुनौती थी, जिसकी जिम्मेदारी उन्होंने सरदार बल्लभ भाई पटेल को सौंपी । इस तरह एक दृढ़ इच्छाशक्ति के कुशल संगठक, शानदार प्रशासक, पटेल के लिए 500 से ज्यादा राजाओं को आजाद भारत में शामिल करना आसान नहीं था। वे उन्हें नई कांग्रेस सरकार के प्रतिनिधि के रूप में इस बात के लिए राजी करने का प्रयास करना चाह रहे थे कि वे भारत की कांग्रेस सरकार के अधीन आ जाए। जिस तरह से उन्होंने हैदराबाद, जूनागढ़ जैसी रियासतों को एक किया वह काबिले तारीफ था। Read more » Featured sardar ballabh bhai patel राष्ट्रीय एकता दिवस सरदार पटेल जयंती
शख्सियत समाज नवीन भारत के महान निर्माता-सरदार पटेल October 31, 2016 by वीरेंदर परिहार | Leave a Comment (31अक्टूबर-जन्मदिवस पर) वीरेन्द्र परिहार सरदार पटेल का जन्म भगवान कृष्ण की कर्मभूमि स्वामी दयानन्द सरस्वती और महात्मा गांधी की जन्मभूमि गुजरात मे 31 अक्टूबर 1875 को बोरसद के करमसद गांव मे हुआ था। उनके पिता झेंबरभाइ्र्र सच्चे ईश्वर-भक्त, साहसी, दूरदर्शी, संयमी और देशभक्त थे।सरदार पटेल के पिता झेंबरभाई ने1857 के स्वाधीनता सेनानियों की मदद करते […] Read more » Featured नवीन भारत के महान निर्माता-सरदार पटेल सरदार पटेल
शख्सियत समाज आर्यसमाज को समर्पित एक प्रेरणादायक वरणीय जीवन: डा. धर्मवीर October 26, 2016 / October 26, 2016 by मनमोहन आर्य | 1 Comment on आर्यसमाज को समर्पित एक प्रेरणादायक वरणीय जीवन: डा. धर्मवीर ६ अक्टूबर २०१६ को दिवंगत ‘वेद, ऋषि दयानन्द और आर्यसमाज को समर्पित एक प्रेरणादायक वरणीय जीवन: डा. धर्मवीर’ मनमोहन कुमार आर्य ऋषि भक्त डा. धर्मवीर जी आर्यसमाज के बहुमुखी प्रतिभा के धनी शीर्षस्थ विद्वान थे। आप आर्यसमाज के प्रगल्भ वक्ता, प्रतिष्ठित लेखक, सम्पादक, पत्रकार, वेद-पारायण यज्ञों का ब्रह्मत्व करने वाले यज्ञ मर्मज्ञ, धर्मोपेदेशक, आर्यसमाज के […] Read more » आर्यसमाज को समर्पित एक प्रेरणादायक वरणीय जीवन डा. धर्मवीर’
शख्सियत समाज मानव सेवा का अद्भुत प्रेरणादायक उदाहरण : पं. रुलिया राम October 25, 2016 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment प्रा. जिज्ञासु जी ने इस घटना पर लिखा है कि डाक्टर दीवानचन्द जी ने पं. रलाराम जी का पुण्य स्मरण करते हुए लिखा है कि ‘प्लेग के रोगियों की सेवा में उन्हें उतनी-सी ही झिझक होती थी जितनी ज्वर के रोगियों से हमें होती है।’ पण्डित जी की लोक-सेवा की प्यास कभी बुझती ही न थी। एक लेखक ने उनके पवित्र भावों के विषय में यथार्थ ही लिखा है ‘पण्डित जी में त्याग था, उत्साह था, प्रचार के लिए जोश था परन्तु एक गुण पण्डित जी को परमात्मा की ओर से ऐसा मिला था जो किसी-किसी को ही मिलता है। वह है प्रबल एवं निष्काम सेवा-भाव।’ उनके जीवन काल में किसी सज्जन ने कहा था, ‘रुलिया राम जी को प्रत्येक दिन शरीर व आयु की दृष्टि से वृद्ध तथा दुर्बल बनाता है परन्तु प्रत्येक आनेवाला दिन उनके सेवा-भाव को जवान बना देता है।’ Read more » पं. रुलिया राम मानव सेवा का अद्भुत प्रेरणादायक उदाहरण
शख्सियत समाज बाबा जयगुरुदेव October 17, 2016 by डा. राधेश्याम द्विवेदी | Leave a Comment बाबा जय गुरुदेव ने सन् 1962 में मथुरा में ही आगरा-दिल्ली राजमार्ग पर स्थित मधुवन क्षेत्र में डेढ़ सौ एकड़ भूमि ख़रीदकर अपने मिशन को और अधिक विस्तार दिया। जय गुरुदेव आश्रम की लगभग डेढ़ सौ एकड़ भूमि पर संत बाबा जय गुरुदेव की एक अलग ही दुनिया बसी है। उनके अनुनानियों में हर वर्ग के लोग शामिल हैं। Read more » Featured जयगुरुदेव
शख्सियत समाज जन्मदिवस विशेष: ‘हमारे अमर कलाम…” October 15, 2016 by अनुज हनुमत | 1 Comment on जन्मदिवस विशेष: ‘हमारे अमर कलाम…” कलाम सर 84 साल के सबसे युवा भारतीय थे। मृत्यु से कुछ क्षण पहले तक उनमें वैसा ही जोष और उत्साह था जैसा आप युवाओं में देखते है। उनकी मृत्यु स्वाभाविक तौर पर ऐसे समय हुई जब वे अपने सबसे प्रिय विषय में युवाओं को संबोधित कर रहे थे। कलाम सर महान भारत के वास्तविक प्रतिक, आदर्ष नागरिक और सर्वाधिक सकारात्मक भारतीय थे। Read more » Bharat Ratna APJ Abdul Kalam Featured एपीजे अब्दुल कलाम कलाम
शख्सियत पर्यावरणविद् डी के जोशी का मिशन अधूरा October 13, 2016 by डा. राधेश्याम द्विवेदी | Leave a Comment , डा.राधेश्याम द्विवेदी जन्म:- उनका जन्म 1938 में गुजरात ( पाकिस्तान) में हुआ था। पिता अयोध्यालाल जोशी और मां प्रकाशवती थे। विभाजन के बाद परिवार अजमेर में आकर बसा। यहीं पर डीके जोशी की पढ़ाई हुई। उन्होंने स्नातक किया। इसके बाद नौकरी की, अखबार से जुड़े, कारोबार किया, राजनीति में भी रहे। कांग्रेस के उत्तर […] Read more » Featured डी के जोशी पर्यावरणविद् डी के जोशी
शख्सियत समाज लोक नायक जयप्रकाश नारायण October 12, 2016 by डा. राधेश्याम द्विवेदी | Leave a Comment “सम्पूर्ण क्रांति से मेरा तात्पर्य समाज के सबसे अधिक दबे-कुचले व्यक्ति को सत्ता के शिखर पर देखना है ।’’ यह जयप्रकाश नारायण का विचार व नारा था जिसका आह्वान उन्होने इंदिरा गांधी की सत्ता को उखाड़ फेकने के लिये किया था।लोकनायक नें कहा कि सम्पूर्ण क्रांति में सात क्रांतियाँ शामिल है - राजनैतिक, आर्थिक, सामाजिक, सांस्कृतिक, बौद्धिक, शैक्षणिक व आध्यात्मिक क्रांति। इन सातों क्रांतियों को मिलाकर सम्पूर्ण क्रान्ति होती है। Read more » Featured जयप्रकाश नारायण लोक नायक लोक नायक जयप्रकाश नारायण
शख्सियत समाज जयप्रकाश नारायण और नानाजी देशमुख – एक तुलनात्मक विश्लेषण October 11, 2016 by हरिहर शर्मा | Leave a Comment नानाजी अक्सर राजा राम की तुलना में वनवासी राम की अधिक प्रशंसा करते थे । उनका कहना था कि राजा के रूप में राम इसलिए अधिक सफल हुए, क्योंकि उन्होंने वन में रहते हुए गरीबी को जाना, समझा | इसीलिए नानाजी ने भी राजनीति से विराम लेकर गरीब वर्गों के उत्थान के लिए अपना जीवन खपाने का निर्णय लिया । दीन दयाल शोध संस्थान भी बनाया तो चित्रकूट में, जहाँ वनवास के दौरान भगवान राम ने अपना समय व्यतीत किया । अपने चित्रकूट प्रवास के दौरान नानाजी ने वहां के पिछड़ेपन, अशिक्षा और अंधविश्वास में डूबी जनता का मूक रुदन अनुभव किया । Read more » Featured जयप्रकाश नारायण नानाजी देशमुख